एक राज्य सरकार द्वारा चलाई जाने वाली योजना है जिसका उद्देश्य बेरोजगार युवाओं को स्वरोजगार के लिए प्रोत्साहित करना और उन्हें आर्थिक सहायता प्रदान करना है। यह योजना उत्तराखंड, उत्तर प्रदेश, मध्य प्रदेश, बिहार जैसे कई राज्यों में अलग-अलग स्वरूपों में लागू की गई है। नीचे इस योजना के मुख्य बिंदु दिए गए हैं:
मुख्य उद्देश्य
बेरोजगारी दूर करना
युवाओं को आत्मनिर्भर बनाना
स्वरोजगार को बढ़ावा देना
स्थानीय स्तर पर रोजगार सृजन
मुख्य विशेषताएं
विशेषता | विवरण |
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योजना का नाम | मुख्यमंत्री स्वरोजगार योजना |
लाभार्थी | बेरोजगार युवा (शहरी और ग्रामीण क्षेत्र) |
सहायता | बैंक ऋण पर अनुदान/सब्सिडी |
ऋण सीमा | ₹10 लाख तक (राज्य अनुसार अलग हो सकती है) |
क्षेत्र | उद्योग, सेवा, व्यापार और कृषि क्षेत्र |
अनुदान | 15% से 35% तक (कैटेगरी अनुसार) |
पात्रता
उम्र – 18 से 50 वर्ष तक
निवास – स्थायी निवासी (राज्य का)
शैक्षणिक योग्यता – कम से कम 8वीं या 10वीं पास
बेरोजगार – स्वरोजगार शुरू करने की इच्छा हो
पहले किसी सरकारी स्वरोजगार योजना का लाभ नहीं लिया हो
जरूरी दस्तावेज
आधार कार्ड
निवास प्रमाण पत्र
आय प्रमाण पत्र
पासपोर्ट साइज फोटो
बैंक खाता विवरण
शैक्षणिक प्रमाण पत्र
बिजनेस प्लान का विवरण
लाभ कैसे प्राप्त करें
ऑनलाइन आवेदन – राज्य की ऑफिशियल वेबसाइट पर जाएं
उदाहरण: उत्तराखंड के लिए – https://mmsy.uk.gov.in
ऑफलाइन आवेदन – जिला उद्योग केंद्र (DIC) में संपर्क करें
बिजनेस प्लान तैयार करें
डॉक्युमेंट सबमिट करें और लोन के लिए बैंक से संपर्क करें
बैंक द्वारा स्वीकृति के बाद अनुदान दिया जाता है
महत्वपूर्ण बातें
अनुसूचित जाति/जनजाति/महिलाओं/दिव्यांगों को विशेष प्राथमिकता
प्रशिक्षण की सुविधा भी उपलब्ध
ऋण चुकाने में सहायता और मार्गदर्शन
स्थानीय स्तर पर रोजगार के अवसर बढ़ते हैं